मदहोश हम हरदम रहा करते हैं

मदहोश हम हरदम रहा करते हैं...

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मदहोश हम हरदम रहा करते हैं,
और इल्ज़ाम शराब को दिया करते हैं,
कसूर शराब का नही उनका है यारों,
जिनका चेहरा हम हर जाम में तलाश किया करते हैं.

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इतनी उदासी क्यों जब नसा ए शाम आपके पास है

इतनी उदासी क्यों जब नसा- ए- शाम आपके पास है,
इतनी मुस्कराहट क्यों जब दिल्लगी की बात है,
जो दूर जाता है उसकी भी कोई मजबूरी होगी,
केवल आपकी ही नही उसकी भी मोहब्बत अधूरी होगी..

नज़र से मिली नज़र मुस्करा कर चले गये

नज़र से मिली नज़र मुस्करा कर चले गये,
चन्द लम्हों में ही दिल लुटा कर चले गये,
दिल तड़पता रह गया उनके दीदार के लिए,
वो नकाब में चेहरा छुपा कर चले गये।

हमें ये मोहब्बत किस मोड़ पे ले आई

हमें ये मोहब्बत किस मोड़ पे ले आई,
दिल में दर्द है और ज़माने में रुसवाई,
कटता है हर एक पल सौ बरस के बराबर,
अब मार ही डालेगी मुझे तेरी जुदाई।

मैंने कुछ इस तरह से खुद को संभाला है

मैंने कुछ इस तरह से खुद को संभाला है,
तुझे भुलाने को दुनिया का भरम पाला है,
अब किसी से मुहब्बत मैं नहीं कर पाता,
इसी सांचे में एक बेवफा ने मुझे ढाला है..

दुनिया में हजारों रिश्ते बनाओ

दुनिया में हजारों रिश्ते बनाओ
लेकिन उन हजारों रिश्ते में से
एक रिश्ता ऐसा बनाओ की...
जब हजारों आप के खिलाफ़ हो
तब भी वह आपके साथ हो.

शम्मा परवाने को जलना सिखाती है

शम्मा परवाने को जलना सिखाती है,
शाम सूरज को ढलना सिखाती है,
क्यों कोसते हो पत्थरों को जबकि...
ठोकरें ही इंसान को चलना सिखाती हैं।